*लोक अदालत में कुल 16281 मामले हुए निस्तारित*

▫️ 59253519/-रूपये की हुयी बैंक ऋण वसूली।
▫️ 5271306/-रूपये का उत्तराधिकार प्रमाण-पत्र जारी।
▫️ 4959628/-रूपये अर्थदण्ड की वसूली की गयी।
▫️ 3695000/-रूपये का दिलाया गया मोटर दुर्घटना प्रतिकर।

🔴संत कबीर नगर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश व जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष लक्ष्मीकान्त शुक्ल की अध्यक्षता में दीवानी न्यायालय परिसर में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन हुआ। माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलित कर जिला जज ने इसका शुभारम्भ किया। उद्घाटन के समय सभी न्यायिक अधिकारीगण, पराविधिक स्वयं सेवक, मीडिया के प्रतिनिधि एवं वादकारीगण उपस्थित रहे।
लोक अदालत में विभिन्न न्यायालयों तथा फोरमों में कुल 13625 मुकदमें लगाए गए थे जिनमें से 2739 मामलों का निस्तारण किया गया। कुल 4959628/-रूपये का अर्थदण्ड एवं 59253519/- रूपये की बैंक ऋण वसूली हुयी। मोटर दुर्घटना न्यायाधिकरण द्वारा 3695000/- रूपये प्रतिकर दिलाया गया। उपभोक्ता फोरम के अध्यक्ष अनिल कुमार सिंह एवं सदस्य सुशील देव द्वारा कुल 02 मामलों का निस्तारण करते हुए 73909/- रूपये की क्षतिपूर्ति धनराशि दिलायी गयी। पारिवारिक विवाद से सम्बन्धित प्री-लिटिगेशन मामलों के निस्तारण हेतु गठित पीठ द्वारा कुल 04 मामलों का निस्तारण किया गया।
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव हरिकेश कुमार ने बताया कि राष्ट्रीय लोक अदालत दीवानी न्यायालय के अलावा जनपद की तीनों तहसीलों खलीलाबाद, मेंहदावल और धनघटा में भी लोक अदालत आयोजित हुई। लोक अदालत में विभिन्न बैंको द्वारा शिविर लगाए गए, जिनमें 834 मामलों का निपटारा किया गया और पांच करोड़ बानबे लाख तिरानबे हजार पाँच सौ उन्नीस रूपये बैंक ऋण की वसूली की गयी, जिसमें से अकेले बड़ौदा यू0पी0 बैंक के द्वारा 46400000/- रूपये बैंक ऋण का सेटलमेन्ट किया गया और 10875000/- की रिकार्ड नकद धनराशि की वसूली की गयी। दीवानी न्यायालय में 13262 मुकदमों में से 1049 मुकदमों का निस्तारण किया गया जिनमें सत्रह लाख छप्पन हजार चार सौ रूपये का अर्थ दण्ड वसूल किया गया। प्रशासनिक वादों में कुल 12726 में से 12708 मामलों का निस्तारण किया गया।
न्यायालय जिला एवं सत्र न्यायाधीश लक्ष्मीकान्त शुक्ल की कोर्ट में कुल 09 मामलों का निस्तारण करते हुए 1150/- रूपये का अर्थदण्ड वसूला गया। पीठासीन अधिकारी मोटर दुर्घटना अधिकरण आशीष जैन की कोर्ट में कुल 38 मामलों का निस्तारण करते हुए रूपये 36,95,000/- प्रतिकर दिलाया गया। अपर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश/नोडल अधिकारी लोक अदालत अनिल कुमार वशिष्ठ की अदालत में कुल 20 मामलों का निस्तारण किया गया। अतिरिक्त पीठासीन अधिकारी परिवार न्यायालय श्री राजेश कुमार पंचम द्वारा कुल 03 मामलों का निस्तारण सुलह-समझौते के आधार पर किया गया। अपर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश एस0सी0/एस0टी0 दिनेश प्रताप सिंह की कोर्ट में 10 मामलों का निस्तारण करते हुए 1200 रूपये का अर्थदण्ड वसूला गया। अपर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश एफटीसी-द्वितीय काशिफ शेख़ की कोर्ट में कुल 08 मामलों का निस्तारण किया गया। मुख्य न्यायिक मजिस्टेट शिखा रानी जायसवाल की कोर्ट में 15 शमनीय प्रकृति के आपराधिक मामलें निस्तारित कर 23350/- रूपये का प्रतिकर एवं 138 एन.आई.एक्ट के 04 मुकदमों का निस्तारण करते हुए 682724/- की प्रतिपूर्ति तथा 793 अन्य फौजदारी मामलें निस्तारित करते हुए 201320/- रूपये अर्थदण्ड वसूला गया। सिविल जज सीनियर डिवीजन महेन्द्र कुमार सिंह की कोर्ट में 392 वादों का निस्तारण करते हुए 75750/-रूपये का अर्थ दण्ड वसूला गया एवं 15 वादों में 5271306/- का उत्तराधिकार प्रमाण पत्र निर्गत किया गया। सिविल जज जू0डि0 दीपक कुमार सिंह द्वारा कुल 331 मामलों का निस्तारण करते हुए 10230/- रूपये का अर्थदण्ड वसूल किया गया। न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रभात कुमार दूबे द्वारा कुल 550 मुकदमों का निस्तारण करते हुए 31230/- रूपये का अर्थदण्ड वसूला गया। सिविल जज जू0डि0 (एफटीसी-प्रथम) मो0 फराज अहमद द्वारा 415 मामलों का निस्तारण करते हुए 96715/- रूपये का अर्थदण्ड वसूला गया। सिविल जज जू0डि0 (एफटीसी-द्वितीय) अजीत कुमार मिश्रा द्वारा 151 मामलों का निस्तारण करते हुए 67050/- रूपये का अर्थदण्ड वसूला गया। इस अवसर पर न्यायिक अधिकारीगण, अध्यक्ष स्थायी लोक अदालत, न्यायालय के कर्मचारीगण, पराविधिक स्वयं सेवक समेत तमाम वादकारीगण उपस्थित रहें। उक्त सूचना जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव हरिकेश कुमार द्वारा दी गयी।