🟥बाड़मेर राजस्थान

सूफियों की नगरी सेड़वा, बाड़मेर में शाह रुक्ने आ़लम अमन सम्मेलन सफलतापूर्वक संपन्न हुआ
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जमाअ़ते गौ़सिया सुहरवरदिया ने जानशीने मुफ्ती-ए-आज़म राजस्थान हज़रत मुफ्ती शेर मुहम्मद खान रिज़्वी की महान सेवाओं को सिक्कों से तौलकर स्वीकार किया।
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पिछले साल की परंपरा के मुताबिक़ जमाअ़ते ग़ौसिया सुहरवर्दिया हिंद द्वारा हज़रत शाह रूक्ने आ़लम नूरी हुजूरी अ़लैहिर्रहमा के उ़़र्स के मौक़े पर “शाह रुक्ने आ़लम अमन सम्मेलन” का आयोजन बड़ी श्रद्धा और सम्मान [अ़क़ीदत व एहतिराम] के साथ किया गया ।
सम्मेलन के संयोजक हज़रत मौलाना कमालुद्दीन साहब सिंधी सुहरवर्दी ने बताया कि क़ारी अ़ब्दुर्रहमान साहब सुहरवर्दी द्वारा कलामे रब्बानी के पाठ[तिलावत] के साथ सम्मेलन की शुरुआत की गई।
निम्नलिखित धार्मिक विद्वानों [उ़ल्मा-ए-किराम]] ने एक के बाद एक समाज सुधार, औलिया-ए-किराम की महानता तथा धार्मिक और आधुनिक शिक्षा के महत्व और गुण जैसे विषयों पर भाषण[खिताबात] किए-
खतीबे बेबाक हज़रत अ़ल्लामा मुफ्ती शम्सुद्दीन साहब क़ादरी खतीब व इमाम सुन्नी जामा मस्जिद मकराना, पूर्व क़ाज़ी-ए- शाहर पाली हज़रत मौलाना मुहम्मद अय्यूब साहब अशरफी अ़लीपुरा हाथमा, खतीबे हर दिल अ़ज़ीज़ हज़रत मौलाना जमालुद्दीन साहब क़ादरी अनवारी नाएब सदर दारुल उ़लूम अनवारे मुस्तफा सेहलाऊ शरीफ –
अंत में जानशीने हुज़ूर मुफ्ती-ए- आज़म राजस्थान, शेरे हिन्दुस्तान, क़ाइदे क़ौम व मिल्लत हज़रत अ़ल्लामा मुफ्ती शेर मुहम्मद खान साहब क़िब्ला रिज़्वी शैखुल हदीस दारुल उ़लूम इस्हाक़िया जोधपुर द्वारा विशेष संबोधन दिया गया-
उन्होंने अपने सम्बोधन के दौरान देश के सभी भाइयों और बहनों के लिए आपसी सम्मान और प्रेम का आह्वान किया कि वे आपसी प्रेम और प्यार मुहब्त और मेल जूल के साथ रहें, फिजूलखर्ची और अनावश्यक रीति-रिवाजों से बचें और नामाज़ रोज़ा व दूसरे नेक कामों की पाबंदी करें।
विशेष नात ख्वानी का शर्फ हज़रत क़ारी मुहम्मद जावेद साहब सिकन्दरी अनवारी, हज़रत क़ारी मोइनुद्दीन साहब जामी बीकानिर और सूफी मुहम्मद अनवर साहब सुहरवर्दी ने प्राप्त किया।
अंत में ग़ौसिया सुहरवर्दीया जमाअ़त हिन्द ने भारत के प्रसिद्ध उपदेशक और धार्मिक विद्वान [मज़हबी रहनुमा व मशहूर आ़लिमे दीन] जानशीने मुफ्ती-ए- आज़म राजस्थान,शेरे हिंदुस्तान, हज़रत अ़ल्लामा मुफ्ती शेर मुहम्मद खान साहब रिज़्वी शैखुल हदीस दारुल उ़लूम इस्हाक़िया जोधपुर को राजस्थान में धर्म [दीन व सुन्नियत] के प्रचार प्रसार के 55 साल पूरा होने पर सिक्कों से तौल कर उ़़ल्मा नवाज़ी का सबूत दिया- हज़रत मुफ्ती साहब क़िब्ला ने तुरंत उन सिक्कों की कुल राशि का आधा हिस्सा सेड़़वा में बनने वाले सिंधी मुस्लिम छात्रावास व आधी राशि रज़ा मस्जिद अशफाक़िया हास्टल जोधपुर को समर्पित कर दिया-
कांफ्रेंस के संरक्षक [सरपरस्त] ताजुल उ़़ल्मा हज़रत अ़ल्लामा ताज मुहम्मद साहब ग़ौसवी मुहतमिम व शैखुल हदीस दारुल उ़लूम फैज़े ग़ौसिया खार्ची द्वारा हज़रत मुफ्ती साहब की बारगाह में धन्यवाद पत्र [सिपास नामा] भेंट किया गया.
इन सज्जनों ने इस सम्मेलन में विशिष्ट रूप से भाग लिया-
शहज़ादा-ए- मुफ्ती-ए- थार हज़रत मौलाना अ़ब्दुल मुस्तफा साहब नईमी सुहरवर्दी, मौलाना हबीबुर्रहमान क़ादरी, मौलाना अ़ली मुहम्मद सुहरवर्दी, मौलाना दिलावर हुसैन क़ादरी, मौलाना अ़ब्दुस्सुब्हान मिस्बाही,मौलाना अ़लीमुद्दीन सअ़दी अशफाक़ी, मौलाना दोस्त अ़ली सुहरवर्दी,मौलाना मुहम्मद हुसैन क़ादरी अनवारी,अल्हाज मोइनुद्दीन चीफ खलीफा सुहरवर्दी जमाअ़त हिंद, मौलाना अल्हाज सखी मुहम्मद साहब क़ादरी चीफ खलीफा जीलानी जमाअ़त हिंद, एमआईएम पार्टी राजस्थान के अध्यक्ष माननीय श्री जमील अहमद साहब, एडवोकेट जावेद साहब प्रवक्ता एमआईएम राजस्थान, काशिफ जुबेरी, इमरान खान व रफीक़ भाई महाराष्ट्र वाले, समाजसेवी ऊदारम मेघवाल, सेड़़वा सरपंच हैदर खान, अहमद खान सम्मा, सरपंच खमीसा खान कुन्दनपुरा, आ़लम क़ादरी, कुर्बान, भाई मुल्तानी टेंटवाले, हाजी कबीर खान व हाजी अ़ब्दुल गफूर जैसलमेर, साहिबना खान गजू अध्यक्ष ग़ौसिया जमाअ़त चिचड़ासर-का़री मुहम्मद अ़ली क़ादरी आदि .
इस सम्मेलन में जमाअ़ते गौसिया हिंद के दर्जनों कार्यकर्ताओं जिनमें दुरा खान, मोहम्मद हयात, मोलेना खान, अब्दुल ग़नी खान, उ़बैदुल्ला ने सभी अतिथियों की खूब ज़ियाफत किया- वहीं इंजीनियर असग़र अ़ली व शुमार खान सिंधी ने पूरे कार्यक्रम का सीधा लाइव प्रसारण किया.-
कांफ्रेंस के कार्यवाहक व संयोजक हज़रत मौलाना कमालुद्दीन साहब सिंधी सुहरवर्दी ने सभी अतिथियों का धन्यवाद[शुक्रिया अदा] किया।
हज़रत मौलाना वली मुहम्मद साहब सुहर्वर्दी ने निज़ामत के कर्तव्यों को बहुस्न व खूबी निभाया।
सलात व सलाम और जानशीने हुज़ूर मुफ्ती-ए-आज़म राजस्थान हज़रत मुफ्ती शेर मुहम्मद खान साहब रिज़्वी की दुआ़ के साथ यह दीनी व मज़हबी सम्मेलन समाप्त हुआ।
रिपोर्टर:(मौलाना)मुहम्मद इस्हाक़ सुहरवर्दी
मुदर्रिस:दारुल उ़लूम फैज़े ग़ौसिया खारची, तहसील:रामसर, ज़िला:बाड़मेर(राजस्थान)