🛑रिपोर्ट नरेश सैनी

500 होटल, गेस्ट हाउस और मैरिज होम को एमवीडीए ने भेजे नोटिस

होटल उद्यमियों ने बताया ये उत्पीड़न करने वाला कदम

20 हजार कर्मचारी हो जाएंगे बेरोजगार

🟥मथुरा। प्रमुख तीर्थ स्थल मथुरा-वृंदावन में 500 होटल और गेस्ट हाउस व्यवसाय को एमवीडीए की कार्रवाई से आज संकट में घिरता दिखाई दे रहा है। इसका अनुकूल समाधान नहीं निकाला गया तो रोजना ब्रज में आने वाले लगभग 50 हजार तीर्थ यात्रियों के ठहराने की व्यवस्था ध्वस्त हो जाएगी। सबसे ज्यादा असर धर्मनगरी वृंदावन में पड़ेगा। इस उद्योग से जुड़े 20 हजार कर्मचारी बेरोजगार हो जाएंगे।
हाल ही में मंडलायुक्त के आदेश पर मथुरा-वृंदावन विकास प्राधिकरण के विशेष कार्याधिकारी प्रसून द्विवेदी की ओर से होटल, गेस्ट हाउस, रेस्टोरेंट, मैरिज होम्स आदि को नोटिस भेजे गए। इनमें उप्र नगर नियोजन एवं विकास अधिनियम 1973 के अंतर्गत ऐसी- ऐसी औपचारिकताएं पूर्ण करने का दबाव डाला जा रहा है जो असंभव हैं। इस बीच प्राधिकरण ने तोड़फोड़ व सील करने की कुछ कार्रवाई वृंदावन में की गई।
वास्तविकता तो यह है कि बड़े व मध्यम स्तर के ज्यादातर होटल मथुरा- वृंदावन विकास प्राधिकरण से स्वीकृति के बाद ही तैयार हुए। अग्निशमन, फूड्स संबंधी व अन्य विभागों की एनओसी भी उनके पास हैं। सभी होटल, रेस्टोरेंट व मैरिज होम 12 फीसदी जीएसटी भी ईमानदारी से भुगतान कर रहे हैं। इसके बावजूद उत्पीड़न किया जा रहा है।
कुछ वर्ष पहले तक वृंदावन में वाहनों का लोड ज्यादा नहीं था। अब भले ही ज्यादा वाहन आ रहे हैं, ज्यादातर होटल व गेस्ट हाउस अपने स्तर से इस प्रकार वाहनों को पार्क कराते हैं कि आम रास्ता प्रभावित न हो।

 

 

होटलों के नक्शा पास तो हो रहे हैं, लेकिन एनजीटी की रोक के कारण सराय एक्ट में पंजीयन नहीं हो रहे। इसमें होटल प्रबंधनों का क्या दोष? जबकि ये होटल हर यात्री का हिसाब और जीएसटी सरकार को दे रहे हैं।
वृंदावन में कुछ लोगों ने गेट बंद कालोनियों में फ्%