✍️जिला बिजनौर संवाददाता सुनील कुमार ठाकुर की रिपोर्ट
 

🛑धामपुर – आज दिनांक 06/02/2024 को गन्ना विकास परिषद/शुगर मिल धामपुर के ग्राम कोटरा टप्पा केशो में गन्ना विकास परिषद धामपुर एवम् गन्ना किसान संस्थान मुरादाबाद के तत्वाधान में एक वृहद कृषक गोष्ठी एवम सामूहिक सभा का आयोजन किया गया।

जिसमें, कृषि विज्ञान केंद्र नगीना के कृषि वैज्ञानिक डॉ पिंटू कुमार, डा. के के सिंह , ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक धामपुर अमित कुमार पाण्डेय, वरिष्ठ गन्ना प्रबन्धक शुगर मिल धामपुर श्री मनोज चौहान, गन्ना पर्यवेक्षक श्री राजेंद्र सिंह ,श्री ओम प्रकाश,भूपेंद्र के साथ सैकड़ो की संख्या में कृषक बंधु प्रतिभाग किए।

आयोजित गोष्ठी को संबोधित करते हुए डॉ पिंटू कुमार ने उपस्थित कृषकों को गन्ने के रेड रॉट बीमारी जिसे गन्ने का कैंसर कहा जाता है के बचाव एवम उपचार के विभिन्न आयामों जैसे, प्रभावित क्लैम्प को गहराई से उखाड़ कर ब्लीचिंग पाउडर का प्रयोग, बुवाई के समय Trichoderma का प्रयोग करने की सलाह दी।

Dr के के सिंह ने प्रजातीय संतुलन, को 0238 के विस्थापन हेतु अन्य संस्तुत एवम रोगरोधी प्रजातियों,Co 118,98014,15023,colk14201,Cos 13235, आदि की बुवाई करने , बीज शोधन के उपरांत बुवाई करने, मृदा परीक्षण उपरांत मृदा कार्बन के स्तर को बनाए रखने हेतु कार्बनिक, रसायनिक खादो के संतुलित मात्रा में प्रयोग करने, का सुझाव दिया,साथ ही गन्ने के बीच में हरी खाद हेतु ढैचा लगाने का सुझाव दिया।।

ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक ने विभागीय योजना, गन्ना समिति में बसंत काल गन्ना बुवाई हेतु कृषि निवेश तथा नवीन प्रजातियों के बीज उपलब्धता, गन्ने की पत्तियों एवम पराली के जलाने से होने वाले नुकसान बारे में जानकारी दी गई साथ ही गन्ने की पत्तियों को न जलाने, एवम मल्चर का प्रयोग करने का सुझाव दिया, समिति में ट्रैक्टर के साथ स्थापित फॉर्म मशीनरी बैंक के बारे में जानकारी दी।

वरिष्ठ गन्ना प्रबन्धक श्री मनोज चौहान ने शुगर मिल धामपुर द्वारा बसंतकालीन बुवाई में कृषकों को दी जा रही सुविधाओं यथा बीज उपचार हेतु हेक्सास्टोप, भूमि उपचार के लिए ट्रिइकोडरमा 50%अनुदान पर उपलब्धता के बारे में जानकारी दी गई।,।

इस दौरान उपस्थित कृषकों को विभागीय योजनाओं , फार्म मशीनरी बैंक, गन्ने की पत्तियों को न जलाने एवम रेड रॉट रोग से संबन्धित पम्पलेट भी वितरित किए गए एवम ग्राम के 12 कृषकों विशाल अहमद ,चरण सिंह ,नरपाल सिंह आदि को, गन्ने की उत्कृष्ट खेती जैसे ट्रेंच विधि, सहफसली , कार्बनिक खेती, विविधिकरण लिए फावड़ा, पलकती, बाल्टी आदि देकर प्रोत्साहित किया गया।