खातेदार को पता ही नहीं उसके नाम से निकल गया सात लाख का लोन

✍️सत्येंद्र यादव

🟥मथुरा – भगवान श्री कृष्ण की क्रीड़ा स्थलीय और जन्मस्थली ऐसे ही तीन लोक से न्यारी नहीं कहीं जाती है यहां सब कुछ संभव है सामाजिक धार्मिक और सरकारी भ्रष्टाचार तो यहां उजागर होते ही नहीं हाल ही में वित्तीय संस्थानों में भी बैंक से लोन वाले माफियाओं का गिरोह भी सक्रिय है इनकी सांठगांठ से बैंकों से बिना किसी जांच-पड़ताल के बाला ही वाला लाखों का लेन देन हो जाता है। ऐसा ही एक मामला अडीग स्थित इंडियन ओवरसीज बैंक का सामने आया है जिस मैं खेत मालिक को पता ही नहीं लगा और उसके फर्जी कूट रचित आईडी आधार कार्ड और वोटर कार्ड के आधार पर प्रताप सिंह पुत्र भरतन उर्फ भरत सिंह निवासी बाबूगढ़ सकराया सागर ने अन्य दस्तावेज तैयार करा के सोमदत्त पुत्र नवल किशोर के नाम से ₹706000 का कृषि ऋण निकाल लिया यह पैसा 16 जनवरी वर्ष 2021 में निकाला गया और जब भूस्वामी को इसकी जानकारी हुई तो उसने अपनी आईडी की असल लगाकर एक शिकायती प्रार्थना पत्र के साथ बैंक प्रबंधक को दिया है शिकायतकर्ता सोमदत्त पुत्र नवल किशोर निवासी उत्तम नगर नई दिल्ली ने अपने शिकायती पत्र में कहा है तहसील सदर क्षेत्र के मौजा बाबूगढ़ भाग सकराया वागर मैं एक आराजी खरीदी थी प्रार्थी की जमीन पर बाला ही बाला फर्जी कूट रचित दस्तावेजों के आधार पर कृषि ऋण निकाल लिया गया है जिसकी प्रार्थी को भनक भी नहीं और वह बैंक का कर्जदार हो गया प्रार्थी को जब जानकारी लगी तो उसने शाखा प्रबंधक को प्रार्थना पत्र देकर दोषियों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज करा कर कानूनी कार्रवाई करने का अनुरोध किया है वही प्रार्थी सोमदत्त ने दिए गए प्रार्थना पत्र में आरोप लगाया है कि अशोक पुत्र भूदेव निवासी बाबूगढ़ भाग सकराया बांगर द्वारा यह लोन कराया गया है और इस लोन को कराने में अरविंद पुत्र ओमप्रकाश, धीरज पुत्र महेंद्र, लक्ष्मी देवी पत्नी लाखन सिंह निवासी बाबूगढ़ भाग सकराया बागर शामिल है। प्राप्त जानकारी के अनुसार उपरोक्त लोगों के विरूद्ध प्रार्थी द्वारा शिकायत करने के पश्चात 16 जून 2023 को बैंक से लिया गया कर्ज भी चुकता कर दिया गया है वही इस संबंध मैं प्रार्थी जांच कर कार्रवाई कराना चाहता है।