मथुरा
🟥रिपोर्ट सत्येंद्र यादव

गोवर्धन तहसीलदार की कार्यप्रणाली के विरोध में अधिवक्ताओं ने किया कार्य का बहिष्कार

बार एसोसिएशन मथुरा ने तहसील में अधिवक्ताओं के न्यायिक कार्य पर लगाई रोक

तहसीलदार की कार्यप्रणाली के विरोध में उत्तर प्रदेश शासन के मुख्य व ग्रह सचिव को भेजा शिकायती पत्र

मथुरा/गोवर्धन- गोवर्धन तहसीलदार की कार्यप्रणाली के विरोध में एकजुट अधिवक्ताओं ने न्यायिक कार्य से बहिष्कार किया है। अधिक्ताओं ने विरोध में तहसीलदार के खिलाफ नारेबाजी की। इस संबंध में बार एसोसिएशन मथुरा ने शिकायत मिलने पर न्यायिक कार्य रोके जाने का भी पत्र जारी कर शासन के मुख्य व ग्रह सचिव को भी सूचना दी है। मथुरा बार एसोसिएशन के सचिव सतेन्द्र कुमार परिहार ने पत्र जारी कर कहा है कि तहसील न्यायालय गोवर्धन में विधि व्यवसाय कर रहे अधिवक्ताओं ने तहसीलदार पर न्यायिक पत्रावलियों में घोर अनियमितता करते हुए मनमाने तरीके से आदेश पारित किये जाने व उनके द्वारा पत्रावलियों को घर ले जाकर संबंधित पक्षों को घर बुलाकर सौदा तय करके विधि विरूद्ध कार्य करने की जानकारी दी है। उनके ऊपर पेशगार के रूप में एक चहेते लेखपाल को नियुक्त कर पत्रावलियों में हेरा-फेरी, अवैध उगाही करने व आदेश करने में रिश्वत लिये जाने का भी आरोप है। उन्होंने बताया कि प्राथमिक स्तर पर बार एसोसिएशन मथुरा द्वारा तहसील गोवर्धन में कार्यरत अधिवक्ताओं से जानकारी करने पर आरोपों की पुष्टि हुई है। इसलिए न्यायिक कार्य का बहिष्कार किया जाता है। इस संबंध में उत्तर प्रदेश के शासन के मुख्य सचिव व ग्रह सचिव को भी सूचना दी गई है। इधर तहसीलदार की कार्यप्रणाली के विरोध में शनिवार को एकजुट अधिवक्ताओं ने नारेबाजी कर विरोध प्रदर्शन किया। विरोध प्रदर्शन में अधिवक्ताओं ले आचार संहिता के चलते मनमानी करने का भी आरोप अधिकारियों पर लगाया है। विरोध करने वाले अधिवक्ताओं में गोपाल प्रसाद शर्मा एड., राधाकिशन शर्मा, तुलाराम वर्मा, प्रहलाद जोशी, प्रेमचंद कौशिक, प्रहलाद शर्मा, त्रिलोकीनाथ शर्मा, इन्द्रभूषण कौशिक, गिरधारी लाल शर्मा, पवन शर्मा, राकेश कौशिक, शशि बाबू कौशिक, भूपेन्द्र शर्मा, सुभाष तिवारी, बीना, हरीश, पूरन लाल आदि थे।