✍️सेराज अहमद कुरैशी

🟥गोरखपुर, उत्तर प्रदेश

क्रांतिकारी शहीद सरदार अली खान के फांसी स्थल कोतवाली परिसर शहीद स्थल पर ध्वजारोहण 26 जनवरी गणतंत्र दिवस के अवसर पर किया गया। संयोजक मुख्तार अली खान वंशज क्रांतिकारी सरदार अली खान मुख्य अतिथि पूर्व मेयर सत्य पांडे ने ध्वजारोहण किया और कहा कि क्रांतिकारी किसी जाति धर्म पंथ का नहीं वह भारत का लाल है भारत का लाल रहेगा हम सबकी जान निछावर है क्रांतिकारियों पर।
शाकिर अली सलमानी अध्यक्ष हिंदू मुस्लिम एकता कमेटी ने कहा कि क्रांतिकारी सिर्फ

 

 

 

 

क्रांतिकारी है अपनी जिंदगी में भी क्रांतिकारी थे सरदार अली खान शहादत के बाद फांसी के फंदे को चूमने के बाद कि वह क्रांतिकारी आज भी है और हम तमाम देशवासियों के दिलों में जिंदा है यह अलग बात है कि गोरखपुर का नगर निगम फांसी स्थल कोतवाली परिसर क्रांतिकारी शहीद सरदार अली खान के शहीद स्थल पर सफाई नहीं करता शौचालय की टंकी बनी है उसे हटाता नहीं बाउंड्री टूटी हुई है गंदे जानवर अंदर घुस रहे हैं शहीद स्थल पर यह दुख की बात है कि हम गोरखपुर नगर निगम परिक्षेत्र में रहते हैं और नगर निगम द्वारा अभी तक इस पर कोई साफ सफाई का काम ईटा बिछा देते कम से कम तब भी चलने और सलामी देने के लायक हो जाता पूर्व में एक

 

 

 

ज्ञापन जिलाधिकारी को भी दिया हिंदू मुस्लिम एकता कमेटी के बैनर तले 10 दिन पहले और फिर नगर आयुक्त को भी दिया अभी तक नगर निगम ने शहीद फांसी अस्थल क्रांतिकारी कोतवाली परिसर में कोई भी सफाई का कार्य नहीं शुरू किया हम सब इस मसले को लेकर माननीय मुख्यमंत्री से मिलेंगे एक प्रतिनिधिमंडल और उन्हें ज्ञापन सौंपेंगे।
विशेष तौर से डॉ. कृष्ण कुमार पांडे इतिहासकार लेखक जिन्होंने रियासतें गोरखपुर नामी किताब लिखी क्रांतिकारी का जिक्र उसमें किया गोरखपुर के माटी के लाल सरदार अली खान बाबू बंधू सिंह जीवन परिचय बताया डॉ कृष्ण कुमार पांडे सभा को संबोधित करते हुए कहा कि हमें शहीद स्थल को शहीद स्मारक बनवाने एवं इसका सुंदरीकरण कराने हेतु कदम आगे बढ़ाना है हम सब मिलजुलकर राष्ट्र की एकता और अखंडता और क्रांतिकारियों के मान सम्मान के लिए शासन प्रशासन से गुहार लगाएंगे।
मुख्तार अली खान वंशज सरदार अली खान क्रांतिकारी ने कहा कि अफसोस है कि शहर गोरखपुर के अंदर हम लोग रहते हैं और नगर निगम की लापरवाही से आज क्रांतिकारी के फांसी स्थल पर ऐसी गंदगी गंदे जानवर खुश घुस रहे हैं और शौचालय की टंकी एक क्रांतिकारी के सीने के पास बनी हुई हमें बर्दाश्त नहीं होता।
सभा को संबोधित करने वालों में विजय कुमार श्रीवास्तव, अनवार आलम, वरिष्ठ पत्रकार सेराज अहमद कुरैशी, सोहराब खान, मोहम्मद रज़ी, सुम्बुल हाशमी, शहाब मोहम्मद खान, अदील अख्तर खान, कलीम उल हक, अरशद जमाल सामानी, सिराज खान, डॉ. मुकेश गुप्ता, नासिर अली, लड्डन खान, डाॅ.शकील अहमद, वाजिद अली, अयान खान, अजमेर खान, कमलेश श्रीवास्तव आदि ने किया।